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इससे पहले मंगलवार को पुंछ के मेंढर में संदिग्ध देखे जाने की सूचना पर सुरक्षाबलों ने छह से ज्यादा सीमावर्ती गांवों को खंगालने के साथ जंगल में तलाशी अभियान चलाया।
मंगलवार अल सुबह सबसे पहले जिला मुख्यालय के निकटवर्ती क्षेत्रों मंगनाड़ टाॅप, कलसां, पंज ककड़ियां और आस-पास के क्षेत्रों में एसओजी, पुलिस, सीआरपीएफ और 39 आरआर की तरफ से तलाशी अभियान शुरू किया गया। इस बीच मेंढर में संदिग्ध देखे जाने की सूचना पर करीब आधा दर्जन ग्रामीण क्षेत्रों और जंगली इलाकों को खंगालने के लिए तलाशी अभियान चलाया गया। इसमें सुरक्षाबलों ने नालों, खेत-खलिहानों एवं जंगल के चप्पे-चप्पे को खंगाला।
रियासी मुठभेड़ में मारे गए आतंकी का शव और सामान बरामद
उधर, रियासी की तहसील चसाना के तुली में सोमवार को हुई मुठभेड़ में मार गिराए गए आतंकी के शव को सुरक्षाबलों को मंगलवार सुबह बरामद कर लिया है। वहीं अंधेरे और बारिश का फायदा उठाकर भागे दूसरे आतंकी की तलाश में सुरक्षाबलों ने पूरे क्षेत्र की घेराबंदी कर तलाशी अभियान चलाया। सुरक्षाबलों ने उम्मीद जताई कि फरार आतंकी जल्द ही हत्थे चढ़ जाएगा। इसके अलावा सुरक्षाबलों ने राजोरी और मेंढर के जंगल और कई गांव भी खंगाले।
मुठभेड़ के दूसरे दिन सुबह सुरक्षाबलों ने पहले क्षतिग्रस्त मकान के आस-पास का इलाका खंगाला। इस दौरान एक आतंकी के शव के साथ सामान भी बरामद हुआ। सुरक्षाबलों ने फरार दूसरे आतंकी को लेकर क्षेत्र के लोगों को सतर्क कर दिया है। मारे गए आतंकी के शव की पहचान और बरामद सामान के बारे में बताने के लिए रखी गई पत्रकार वार्ता को सैन्य अधिकारियों ने ऐन मौके पर रद्द कर दिया और लोगों को संदिग्ध गतिविधि देखते ही सूचना देने को कहा।
बुद्धल, गुन्दा और ख्वास के जंगलों में सुरक्षाबलों ने खोजी कुत्तों और ड्रोन से की तलाश
राजोर जिले के बुद्धल, गुन्दा और ख्वास के जंगलों में मंगलवार को सुरक्षाबलों ने बड़े पैमाने पर तलाशी अभियान चलाया। सुरक्षाबलों को आशंका है कि रियासी जिले के तुली क्षेत्र में हुई मुठभेड़ के बाद सोमवार मध्यरात्रि बारिश और धुंध का लाभ उठाकर एक आतंकी राजोरी क्षेत्र की तरफ भागा है। आशंका का बड़ा कारण यह है कि रियासी का तुली क्षेत्र राजोरी जिले के बुद्धल पुलिस थाने के तहत पड़ने वाले दंडोत गांव के साथ गुन्दा और ख्वास के जंगल से सटा है। वहीं बुद्धल और रियासी की सीमाएं भी आपस में मिलती हैं। संयुक्त तालाशी अभियान में खोजी कुत्ते और ड्रोन का भी सहारा लिया जा रहा है, लेकिन फिलहाल देर शाम तक कोई संदिग्ध दिखाई नहीं दिया।
सुरक्षाबल जंगल के इलाके का चप्पा-चप्पा खंगाल रहे हैं। इसके साथ ही लोगों के घरों में तलाशी ले रहे हैं। बता दें की गुंदा, ख्वास और बुद्धल घने जंगल से घिरा है। इसमें छिपने के लिए बड़ी चट्टानें और गहरी गुफाएं हैं। घात लगाकर हमला करने में यह जंगल हमेशा से आतंकियों के लिए मददगार साबित हुआ है। इससे पहले 5 अगस्त को राजोरी के गुन्दा के जंगल में एक आतंकी को सुरक्षाबलों ने ढेर कर दिया था, तो दूसरा गंभीर जख्मी हालत में फरार हो गया था। बाद में उसका शव राजोरी और रियासी के बॉर्डर पर स्थित ढकीकोट इलाके के एक नाले से 17 और 18 अगस्त की मध्यरात्रि को बरामद हुआ था।
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